उत्तर प्रदेश के चर्चित हत्याकांड में शुमार प्रयागराज के जीवन ज्योति अस्पताल के निदेशक डॉक्टर एके बंसल की हत्या का आखिरकार 4 साल बाद सोमवार को खुलासा हो गया। STF ने इस प्रकरण में फ्रैक्चर गैंग के 50 हजार इनामी शूटर शोएब को लखनऊ से गिरफ्तार किया है। STF का दावा है कि पटना निवासी एडमिशन माफिया आलोक सिन्हा धोखाधड़ी की रिपोर्ट दर्ज होने के बाद प्रतापगढ़ के दो शूटरों को सुपारी देकर डॉक्टर बंसल की हत्या कराई थी। शोएब उनमें से एक था।
शोएब ने यह भी खुलासा किया है कि हत्याकांड की साजिश में कैबिनेट मिनिस्टर नंद गोपाल नंदी पर हमले का आरोपी दिलीप मिश्रा और प्रयागराज का ही शातिर अपराधी अख्तर कटरा भी शामिल था। शोएब पर हत्या के चार केस दर्ज हैं। डॉक्टर बंसल की हत्या के अलावा वह प्रतापगढ़ और अमेठी में भी आपराधिक वारदातें कर चुका है। शूटर के पास से दो जाली पैन और वोटर आईडी कार्ड, मोबाइल व 1900 नकदी बरामद हुई है।
डॉक्टर बंसल चैंबर में देख रहे थे मरीज, तभी हुई थी हत्या
13 मार्च 2017 को डॉक्टर एके बंसल अपने जीवन ज्योति अस्पताल में मरीजों को देख रहे थे। तभी प्रतापगढ़ जिले के आजाद नगर निवासी शोएब ने अपने साथी मकसूद और यासिर के साथ मिलकर बंसल पर ताबड़तोड़ गोलियां बरसा दी थी। इस प्रकरण में हत्यारोपी मकसूद अपने साथी यासिर की ही हत्या में जेल जा चुका है।
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डॉ. बंसल ने अपने पार्टनर को भेजवाया था जेल
डॉ एके बंसल ने अपने बेटे का मेडिकल कॉलेज में दाखिला दिलाने के लिए अपने पार्टनर आलोक सिन्हा को 55 लाख रुपए दिए थे। कुछ महीनों तक तो आलोक एडमिशन कराने की बात कहकर टाल मटोल करता रहा। लेकिन बाद में वह पैसे हड़प कर एडमिशन कराने से मुकर गया। जिस पर डॉ बंसल ने पार्टनर आलोक के खिलाफ मामला दर्ज करा कर जेल भेजवा दिया। साथ ही उस पर दर्ज कई और मामलों में भी पैरवी करने लगे। जिसके चलते आलोक सिन्हा की जमानत नहीं हो पा रही थी और उसकी मुश्किलें भी बढ़ती जा रही थी।
कुख्यात अपराधियों की बैरक में पहुंच गया था आलोक
शूटर शोएब ने STF को बताया कि आलोक सिन्हा प्रयागराज की नैनी जेल में बंद कुख्यात अपराधियों दिलीप मिश्रा, अशरफ उर्फ अख्तर कटरा, जुल्फीकार उर्फ तोता और गुलाम रसूल की एक नंबर की सर्किल की बी क्लास बैरक में शिफ्ट कर दिया गया था। जहां उसने डॉ बंसल की हत्या करने की साजिश रची और पहले से मौजूद अपराधियों की मदद ली। जिस पर दिलीप मिश्रा और मकसूद उर्फ अख्तर ने अबरार मुल्ला के माध्यम से हम लोगों से सम्पर्क किया था।
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70 लाख में तय हुई थी डील
शूटर शोएब ने बताया कि 70 लाख रुपए में डॉ बंसल की हत्या की डील हुई थी। अबरार मुल्ला के जरिए उसे 5 लाख रुपए नगद और दो पिस्टल व बाइक मुहैया कराई गई थी। जबकि बाकी रुपए हत्या किए जाने के बाद उसे दिए जाने की बात कही गई थी। जिसकी रकम अबरार मुल्ला के पास थी।
डॉक्टर की हत्या के बाद कर दिया था साथी का कत्ल
शोएब और मकसूद ने डॉ बंसल की हत्या किए जाने के कुछ दिनों बाद पैसों को लेकर हुए विवाद में अपने साथी यासिर की गोली मारकर हत्या कर दी थी। इस मामले में शोएब पुलिस की पकड़ से दूर था जबकि मकसूद जेल भेज दिया गया था।
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फ्रैक्चर गैंग के नाम से चलाता था गिरोह
STF टीम ने बताया कि शूटर शोएब ने पढ़ाई के दौरान कुछ दोस्तों के साथ एक गैंग बनाया था। मारपीट से शुरू हुई उसकी कहानी पहली बार चुनमुन पांडेय की दिनदहाड़े हत्या तक पहंच गई। जिसके बाद उसने अपने गिरोह का नाम फ्रैक्चर गैंग रख लिया। आरोपी शोएब पर पुलिस ने 50 हजार रुपए का ईनाम भी रखा था।
इन घटनाओं का हुआ खुलासा
शोएब की गिरफ्तारी के बाद वर्ष 2015 में चुनमुन पांडेय की हत्या, 2015 में ही डॉ. प्रभात की गोली मारकर हत्या, 2017 में जीवन ज्योति हास्पिटल के मालिक डॉ एके बंसल की हत्या, महामाया मार्बल के मालिक राजेश सिंह की हत्याकांड समेत कई अन्य संगीन घटनाओं का खुलासा हुआ है।
ऐसे हुई गिरफ्तारी
मुखबिरी में पता चला कि वो लखनऊ के चिनहट इलाके में छुपा हुआ है, जिसके बाद STF ने आरोपी शोएब को धर दबोचा STF ने जब कड़ाई से पूछताछ की तब पता चला कि शोएब, यासिर और मकसूद ने मिलकर आलोक सिन्हा के कहने पर एक बंसल की हत्या की थी।