• About us
  • Privacy Policy
  • Disclaimer
  • Terms & Conditions
  • Contact
24 Ghante Latest Hindi News
  • होम
  • राष्ट्रीय
    • उत्तराखंड
    • उत्तर प्रदेश
    • छत्तीसगढ़
    • हरियाणा
    • राजस्थान
  • राजनीति
  • अंतर्राष्ट्रीय
  • क्राइम
  • मनोरंजन
  • शिक्षा
  • स्वास्थ्य
  • धर्म
  • होम
  • राष्ट्रीय
    • उत्तराखंड
    • उत्तर प्रदेश
    • छत्तीसगढ़
    • हरियाणा
    • राजस्थान
  • राजनीति
  • अंतर्राष्ट्रीय
  • क्राइम
  • मनोरंजन
  • शिक्षा
  • स्वास्थ्य
  • धर्म
No Result
View All Result

गोरक्षपीठ का अयोध्या स्थित श्रीराम जन्म भूमि आन्दोलन से गहरा सम्बन्ध रहा है : योगी

Desk by Desk
31/08/2020
in Main Slider, उत्तर प्रदेश, ख़ास खबर, गोरखपुर
0
सीएम योगी आदित्यनाथ

मुख्यमंत्री एवं गोरक्षपीठाधीश्वर योगी आदित्यनाथ

14
SHARES
176
VIEWS
Share on FacebookShare on TwitterShare on Whatsapp

गोरखपुर। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री एवं गोरक्षपीठाधीश्वर योगी आदित्यनाथ ने कहा कि पीठ का अयोध्या स्थित श्रीराम जन्म भूमि आन्दोलन से गहरा सम्बन्ध रहा है।

सोमवार को ब्रह्मलीन महन्त दिग्विजयनाथ के 51वीं एवं राष्ट्र संत महन्त अवेद्यनाथ के छठवीं पुण्यतिथि के अवसर पर “प्रथम दिन श्रीराम जन्म भूमि मन्दिर का शुभारम्भ भारत में एक नये युग का आरम्भ ”विषय पर श्री योगी ने कहा कि अयोध्या में श्रीराम जन्म भूमि पर भव्य मन्दिर निर्माण से सम्पूर्ण भारतवर्ष गौरवान्वित हुआ है। उन्होंने कहा कि गोरक्षपीठ के पूर्व महन्तद्वय ब्रह्मलीन महन्त दिग्विजयनाथ एवं राष्ट्रसंत महन्त अवेद्यनाथ के संकल्पो की सिद्धि भी मन्दिर शुभारम्भ के साथ हुई जो भारत में राम राज्य की स्थापना के लिए अपना सम्र्पूण जीवन समर्पित किये थे इसलिए गोरक्षपीठ का श्रीराम जन्म भूमि आन्दोलन से गहरा सम्बन्ध रहा है।

बारामूला में ग्रेनेड हमले के कुछ घंटे बाद ही सोपोर पुलिस चौकी पर किया अटैक, दो पुलिसकर्मी समेत 8 घायल

उन्होंने कहा कि श्रीराम जन्म भूमि पर मन्दिर निर्माण एक नये युग का शुभारम्भ है और कोई भी भारतीय ऐसा नहीं होगा जो भगवान श्रीराम के दिव्य आदर्शों से प्रभावित न/न हो, भले ही उसकी शिक्षा क्यों न/न विकृत शिक्षा प्रणाली में हुई हो। सन् 1528 से लेकर 2020 तक प्रत्येक काल खण्ड में चाहे सरकार किसी की भी क्यों न/न रही हो समाज निरन्तर श्रीराम जन्म भूमि के लिए संघर्ष करता रहा है। लाखों श्रीराम भक्तों के बलिदान और भारत की शाश्वत संत परम्परा के नेतृत्व के बाद आज अयोध्या में श्रीराम जन्म भूमि पर मन्दिर निर्माण का मार्ग प्रशस्त हुआ है।

श्री योगी ने कहा कि उच्चतम न्यायालय ने सर्वसम्मति से अयोध्या में श्रीराम जन्म भूमि पर मन्दिर निर्माण का निर्णय और उसके बाद आम जन के उस निर्णय के प्रति सहर्ष सहमति भारतीय लोक तंत्र के शाश्वत मूल्यों व आदर्शों का प्रत्यक्ष उदाहरण है। हम अपनी शाश्वत परम्परा और पूर्वजों के प्रति सम्मान से ही भारत देश का गौरवशाली वर्तमान और उज्जवल भविष्य का निर्माण कर सकते हैं।

योगी ने कहा कि सकारात्मक सोच जो लोक कल्याण के मार्ग से सबका साथ, सबका विकास के मूल मंत्र पर आधारित है, वह भारत की समृद्ध ज्ञान परम्परा का ही पर्याय है। भारत की यशस्वी परम्परा में स्वार्थ नहीं परमार्थ का भाव है। मई 2014 को देश के प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व में भारत में शासन सत्ता की स्थापना राम राज्य की स्थापना ही तो है। राम का कार्य लोक कल्याण का ही कार्य है। इस दृष्टि से श्रीराम जन्म भूमि पर श्रीराम मन्दिर का निर्माण लोक मंगल और लोक कल्याण का सर्वोत्कृष्ट कार्य कह सकते हैं। वर्तमान सरकार द्वारा विभिन्न लोक कल्याणकारी कार्य जिसमें वंचितों, असहायों, गरीबों के जीवन में खुशहाली ले आना उसी कड़ी के रूप में देखा जा सकता है।

पूर्व राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी के सम्मान में 7 दिन के राष्ट्रीय शोक की घोषणा

उन्होंने कहा कि वास्तव में वर्तमान सरकार के लोक कल्याणाकारी कार्य जिसकी सर्वाधिक प्रतिस्थापना श्रीराम जन्म भूमि पर मन्दिर निर्माण से है, यह मात्र एक मन्दिर निर्माण का कार्य नहीं है वरन् भारत की अपनी संस्कृति व अपनी परम्परा तथा यशस्वी पूर्वजों के प्रति सम्मान भाव की परिणति है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि गोरक्षपीठ के पूर्व महन्तद्वय ब्रह्मलीन महन्त दिग्विजयनाथ एवं राष्ट्रसंत महन्त अवेद्यनाथ के संकल्पो की सिद्धि भी मन्दिर शुभारम्भ के साथ हुई जो भारत में राम राज्य की स्थापना के लिए अपना सम्पूर्ण जीवन समर्पित किये थे।

संगोष्ठी के मुख्य वक्ता महात्मां गांधी अन्तर्राष्ट्रीय विश्वविद्यालय वर्धा, महाराष्ट्र के कुलपति प्रो0 रजनीश शुक्ल ने कहा कि विश्व में वास्तिवक कलिकाल का उदय तब हुआ जब इस देश में जन-जन के आराध्य भगवान श्रीराम का आवास तोड़ा गया। भगवान श्रीराम का मन्दिर तोड़ा जाना तथा भारत के लोगों को भारतीयता से षडयंत्र पूर्वक विमुख करने के लिए जो कुतस्ति प्रयास हुआ वह अत्यन्त निन्दनीय है।

उन्होंने कहा कि भारत की भारतीयता को नष्ट भ्रष्ट करने, रामजन्म भूमि पर अपलाप करके राम विहिन भारत बनाने का जो षडयंत्र रचा गया, उसके फलस्वरूप भारत सचमुच अपनी भारतीय संस्कृति व राम के आदर्शों को भूलकर राजा विहिन प्रजा की तरह दिशा विहिन हो गया था। यह 2020 का वर्ष उस युग के समाप्ति का वर्ष है। उन्होंने कहा कि 492 साल के लंबे वनवास के बाद अयोध्या में विवाद मुक्त और शांति युक्त श्रीराम मन्दिर के निर्माण की स्थापना के कारण पुनः सम्पूर्ण भारत के साथ-साथ पूरे विश्व को शांति का मार्ग दिखाने का वर्ष है।

NIA ने कच्छ से ISI एजेंट को किया गिरफ्तार, भारत में पाक एजेंटों की करता था मदद

प्रो0 शुक्ल ने कहा कि जो राम साक्षात् न्याय, करूणा धर्म तथा शांति के शाश्वत विग्रह स्वरूप हैं। उन राम के मन्दिर का शुभारम्भ भी उच्चतम न्यायालय के निर्णय के उपरान्त समरसता व शांति के साथ होता है। उन्होंने कहा कि निश्चित रूप से सर्वेश्वर श्रीराम की इच्छा ही है कि जिस समय भव्य राम मन्दिर के निर्माण के लिए सर्वोच्च न्यायालय का निर्णय आता है उस समय उत्तर प्रदेश का नेतृत्व उसी गोरक्षपीठ को प्राप्त है जो रामलला के प्राक्ट्य से लेकर जन्म भूमि मुक्ति आन्दोलन तक निरन्तर पूरे सनातन हिन्दू समाज का नेतृत्व किया।

विशिष्ट वक्ता भारतीय इतिहास अनुसंधान परिषद, नई दिल्ली के निदेशक (शोध एवं प्रशासन) डाॅ0 ओम जी उपाध्याय ने कहा कि भगवान श्रीराम और भारत एक दूसरे के पर्याय हैं। श्रीराम की चेतना ही भारत की चेतना है। श्रीराम के आदर्श ही भारत के आदर्श हैं। श्रीराम का चरित्र ही सम्पूर्ण भारत का चरित्र है इसलिए निश्चित ही श्रीराम मन्दिर के निर्माण से भारत के नये युग आ आरम्भ है।

बिकरू कांड : 50 हजार का इनामी राघवेंद्र कुमार गिरफ्तार

उन्होंने कहा कि पांच अगस्त, 2020 को प्रधानमंत्री श्री मोदी ने जब श्रीराम के भव्य मन्दिर का शिलान्यास किया तो भारत के राजनीति व चरित्र की नई परिभाषा लिखी गई। उन्होंने कहा कि कहने के लिए भारत धर्म निरपेक्ष था लेकिन भारत की राजनीति केवल तुष्टीकरण पर ही आधारित रही। अब भारत नकली धर्म निरपेक्षता से मुक्त हो गया।

मुख्य अतिथि अनन्त श्रीविभूषित जगद्गुरु स्वामी राघवाचार्य ने कहा कि श्रीराम मन्दिर निर्माण का शुभारम्भ निश्चित ही नये युग का आरम्भ है। आजादी के बाद से हम सिर्फ पाश्चात्य संस्कृति का अनुसरण व अनुकरण करने में ही अपनी भारतीय संस्कृति को भूलते जा रहे थे। भगवान श्रीराम भारत के प्रतीक व पहचान हैं।

उन्होंने कहा कि हमारी भारतीय संस्कृति राममय होकर ही उनके आदर्शों पर चलकर सम्पूर्ण विश्व के कल्याण की बात करती है। निश्चित ही श्रीराम मन्दिर निर्माण से भारतीय संस्कृति में उनके आदर्शों की स्थापना हो सकेगी।

Tags: 24ghante online.com51st death anniversary of Brahmalin Mahant DigvijaynathChief Minister and Gorakshpithadhishwar Yogi AdityanathShri Ram temple constructionsixth death anniversary of nation saint Mahant Avedyanathब्रह्मलीन महन्त दिग्विजयनाथ के 51वीं पुण्यतिथिमुख्यमंत्री एवं गोरक्षपीठाधीश्वर योगी आदित्यनाथराष्ट्र संत महन्त अवेद्यनाथ के छठवीं पुण्यतिथिश्रीराम मंदिर निर्माण
Previous Post

नए ब्रांड स्टोर के लॉन्च में कृष्णा अभिषेक, कश्मीरा शाह, रजनीश दुग्गल, रिशब चौहान, और दीपशिखा ने पहुंचकर उसकी शोभा में चार चांद लगाए

Next Post

संसदीय एवं प्रशासनिक क्षेत्र में उनका अनुभव बेजोड़ था : बिरला

Desk

Desk

Related Posts

Azam Khan
Main Slider

मुझे राजनीति छोड़ देनी चाहिए थी, लेकिन अब तो… आजम खान का छलका दर्द

03/10/2025
Idli Chaat
Main Slider

यह डिश नाश्ते में लगा देगी चार चांद, रोज होगी बनाने की डिमांड

03/10/2025
Papankusha Ekadashi
Main Slider

आज रखा जाएगा पापांकुशा एकादशी व्रत, जानें इसका महत्व

03/10/2025
Panchak
Main Slider

आज से लग रहे है चोर पंचक, गलती से भीं करें ये काम

03/10/2025
Sharad Purnima
Main Slider

कब मनाई जाएगी शरद पूर्णिमा? जानें पूजा विधि और मुहूर्त

03/10/2025
Next Post
Tribute to Pranab Mukherjee

संसदीय एवं प्रशासनिक क्षेत्र में उनका अनुभव बेजोड़ था : बिरला

यह भी पढ़ें

yogi

बच्चों की स्वास्थ्य सुरक्षा को लेकर हमें पूरी सावधानी और सतर्कता बरतनी होगी : सीएम योगी

17/05/2022

मुनव्वर राणा की बेटी सुमैया को यूपी पुलिस ने किया हाउस अरेस्ट

05/10/2021
Islamic flag

गणतंत्र दिवस पर फहराया धार्मिक झंडा, दो हिरासत में

27/01/2023
Facebook Twitter Youtube

© 2022 24घंटेऑनलाइन

  • होम
  • राष्ट्रीय
    • उत्तराखंड
    • उत्तर प्रदेश
    • छत्तीसगढ़
    • हरियाणा
    • राजस्थान
  • राजनीति
  • अंतर्राष्ट्रीय
  • क्राइम
  • मनोरंजन
  • शिक्षा
  • स्वास्थ्य
  • धर्म

© 2022 24घंटेऑनलाइन

Go to mobile version