अब पर्यटन और नागरिक उडयन विभाग साथ मिलकर पर्यटकों की सुविधा के लिए गाइडेंस ऐप तैयार करेंगे जो आसानी से पर्यटकों के काम आएगा। इसके पीछे राज्य में पर्यटन को बढ़ावा देने की कसरत है। मुख्य सचिव डॉ. एसएस संधू ने सोमवार को विभागीय समीक्षा के दौरान यह निर्देश निर्देश दिए।
मुख्य सचिव ने कहा कि उद्योगों को आसानी से भूमि उपलब्ध हो इसके लिए लैंड बैंक तैयार किया जाए। पर्यटन विभाग को लैंड बैंक तैयार करने के लिए एक विशेष सेल बनाए जाने का निर्देश देते हुए कहा कि इस सेल का कार्य प्रदेश भर में भूमि बैंक चिन्हित करना होगा, जिससे पर्यटन से जुड़े उद्योगों को स्थापित करने में आसानी होगी।
संधू ने रोमांचक पर्यटन के अतंर्गत बंजी जंपिंग, ट्रैकिंग, पैराग्लाइडिंग आदि पर विशेष ध्यान देने का निर्देश दिया। उन्होंने इन के लिए समयचक्र निर्धारित करने को कहा। उन्होंने पर्यटकों की सुरक्षा पर विशेष ध्यान देने, हेल्पलाइन नंबर जारी करने का निर्देश दिया तथा कहा कि हम ऐसा पद्धति तैयार करें, जिसमें उत्तराखंड में आने वालों को उत्तराखंड में आपका स्वागत जैसा संदेश मिले। इसके साथ ही साथ एप डाउनलोड करने से लोगों को पूरी जानकारी मिले। उन्होंने पर्वतारोहण के लिए ट्रैकिंग डिवाइस आवश्यक करने का निर्देश दिया इससे लापता पर्वतारोहितयों का पता चल जाएगा।
मुख्य सचिव ने व्यवस्था और चाकचौबंद करने का निर्देश दिया तथा कहा कि पर्यटन विभाग अलग-अलग व्यवस्थाओं के माध्यम से पर्यटकों को अधिकाधिक सुविधा उपलब्ध कराएं और इसकी जानकारी मोबाइल तथा वेबसाइट पर उपलब्ध हो। उन्होंने हवाई सेवाओं को और किफायती बनाने पर जोर दिया।
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मुख्य सचिव ने कहा कि प्रदेश में एयर कनेक्टिविटी बढ़ाए जाने के लिए अधिक से अधिक हेलीपैड भी विकसित किए जाएं। हेलीपैड विकसित किए जाते समय ट्रांसपोर्टेशन, डिजास्टर मैनेजमेंट और मेडिकल इमरजेंसी जैसे पहलुओं पर ध्यान रखा जाए। उन्होंने कहा कि ऐसे क्षेत्रों को भी चिन्हित किया जाए जो भले ही पर्यटन की दृष्टि से उपयोगी न हों परन्तु, आपदा एवं मेडिकल इमरजेंसी की दृष्टि से उपयोगी हों।
उन्होंने कहा कि हेलीपैड समय से तैयार हो सकें इसके लिए साप्ताहिक समीक्षा की जाए। प्रत्येक प्रोजेक्ट को ससमय पूर्ण करने के लिए प्रत्येक स्टेज एवं कार्य के पूर्ण होने की समय सीमा निर्धारित की जाएं।
इस अवसर पर सचिव दिलीप जावलकर, अपर सचिव युगल किशोर पंत सहित अन्य उच्चाधिकारी उपस्थित थे।