नई दिल्ली। कृषि कानूनों के खिलाफ टिकरी बॉर्डर पर मंगलवार को भी लगातार बारहवें दिन किसानों का विरोध प्रदर्शन जारी है। इस क्रम में आज किसान यूनियनों ने देशभर में भारत बंद का आवाह्न किया है और कल यानि बुधवार को केंद्र सरकार और किसानों के बीच छठे दौर की वार्ता होगी। इस बंद को सभी विपक्षी पार्टियों का समर्थन मिला है।
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जावड़ेकर ने विपक्ष को बताया ‘ढोंगी’
केंद्रीय मंत्री प्रकाश जावड़ेकर ने मंगलवार को कहा, ‘कांग्रेस ने अपने घोषणापत्र में इन कृषि कानूनों का उल्लेख किया। इन कानूनों की वापसी की मांग करने वाला विपक्ष ढोंगी है। अपनी सत्ता के दौरान उन्होंने कंट्रैक्ट कृषि कानूनों को पारित किया था, इस तरह की पेशकश कभी नहीं की।’ उन्होंने आगे कहा, ‘किसानों ने लागत के अतिरिक्त लाभ की मांग की थी और हम उन्हें पहले ही लागत से 50 फीसद अधिक दे रहे हैं।’
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किसानों से खुद बात करें पीएम
शिवसेना पार्टी के नेता संजय राउत ने कहा, ‘दिमाग की बात छोड़ दीजिए, अगर सरकार के पास दिल है तो प्रधानमंत्री या गृह मंत्री खुद जाकर उनसे (किसानों) बात करेंगे और उनको समझाएंगे।’ कृषि कानूनों के खिलाफ दिल्ली-यूपी बॉर्डर पर किसानों का विरोध प्रदर्शन जारी है। एक प्रदर्शनकारी ने कहा, ‘सरकार को समझ लेना चाहिए कि उन्हें इन कानूनों को वापस लेना ही होगा।’
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देश भर में किसानों द्वारा बुलाए गए इस बंद के मद्देनजर केंद्र की ओर से सभी प्रदेशों और केंद्र शासित राज्यों से शांति बनाए रखने के लिए पुख्ता सुरक्षा इंतजाम करने के आदेश दिए हैं। इसके अलावा राज्य सरकारों से इस दौरान कोविड-19 की दिशानिर्देशों का भी कड़ाई से पालन कराए जाने के लिए कहा है।