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शिवराज बोले- अधिकृत सूचना के आधार पर वैधानिक कार्रवाई होगी

Shivraj Chauhan

Shivraj Chauhan

मध्यप्रदेश की पूर्ववर्ती कमलनाथ सरकार के कार्यकाल के दौरान रुपयों के बड़े पैमाने पर कथित लेनदेन संबंधी मामले में केंद्रीय निर्वाचन आयोग की ओर से संबंधितों के खिलाफ कार्रवाई संबंधी पत्र लिखने की खबरों के बीच मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने आज कहा कि जैसे ही राज्य सरकार के पास कोई सूचना या पत्र आएगा, उसके अनुरूप सख्त वैधानिक कार्रवाई की जाएगी।

श्री चौहान ने यहां मीडिया के सवालों के जवाब में यह टिप्पणी की। श्री चौहान ने कहा कि उन्होंने इस मामले में पता करवाया है, लेकिन अभी तक (अपरान्ह तक) इस संबंध में अधिकृत तौर पर कोई जानकारी, सूचना या पत्र नहीं मिला है।

उन्होंने कहा कि जैसे ही राज्य सरकार के पास आधिकारिक सूचना या पत्र आएगा, उसके तथ्यों के आधार पर सख्त कार्रवाई की जाएगी। इसमें जो भी दोषी होगा, भले ही वो कोई हो, उसके खिलाफ वैधानिक कार्रवाई होगी। मुख्यमंत्री ने कहा कि वे तथ्यों का इंतजार कर रहे हैं। जैसे ही आते हैं, वैसे ही कार्रवाई होगी।

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श्री चौहान ने कहा कि जैसा बताया गया है कि मामला ईओडब्ल्यू (आर्थिक अपराध प्रकोष्ठ) को देने की बात कही गयी है, जो भी तथ्य होंगे, उसके आधार पर जांच करवाएंगे और कार्रवाई करेंगे।

इस बीच भारत निर्वाचन आयोग की वेबसाइट पर एक प्रेस विज्ञप्ति बुधवार को प्रदर्शित की गयी है, जिसमें केंद्रीय प्रत्यक्ष कर बोर्ड (सीबीडीटी) की 28 अक्टूबर 2020 की रिपोर्ट का जिक्र किया गया है। इस रिपोर्ट के आधार पर केंद्रीय निर्वाचन आयोग ने मध्यप्रदेश के मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी (सीईओ) से संबंधितों के खिलाफ आपराधिक कार्रवाई करने के लिए कहा गया है।

इसमें कहा गया है कि मध्यप्रदेश के ईओडब्ल्यू के जरिए संबंधितों के खिलाफ वैधानिक कार्रवाई करायी जा सकती है। आयोग ने केंद्रीय गृह सचिव को भी निर्देश दिया है कि वह अखिल भारतीय सेवाओं से जुड़े अधिकारियों के खिलाफ उपयुक्त विभागीय कार्रवाई की पहल करें। इसी तरह का निर्देश मध्यप्रदेश के मुख्य सचिव को राज्य सेवा के अधिकारी के खिलाफ करने के लिए दिया गया है।

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आयकर विभाग ने लगभग डेढ़ वर्ष पहले तत्कालीन कांग्रेस सरकार के कार्यकाल के दौरान सत्तारूढ़ दल से जुड़े प्रभावी लोगों के दिल्ली, भोपाल और अन्य स्थानों पर छापे की कार्रवाई की थी। इस दौरान करोड़ों रुपए नगद और दस्तावेज मिले थे। दस्तावेज की पड़ताल के बाद आयकर विभाग इस निष्कर्ष पर पहुंचा था कि लोकसभा चुनाव 2019 के दौरान करोड़ों रुपयों का लेनदेन नगद और अन्य तरीकों से किया गया है। इस कार्य में तत्कालीन वरिष्ठ अधिकारियों की भी भूमिका थी। आयकर विभाग ने यह रिपोर्ट सीबीडीटी को सौंपी और सीबीडीटी ने यह जानकारी देश के निर्वाचन आयोग को मुहैया करायी।

बताया गया है कि इस मामले में भारतीय पुलिस सेवा (भापुसे) के तीन वरिष्ठ अधिकारियों के अलावा राज्य सेवा से जुड़े एक अधिकारी का नाम भी सामने आ रहा है। वहीं राज्य में सत्तारूढ़ दल भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के नेताओं ने इस मामले में सभी जिम्मेदार व्यक्तियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की मांग की है।

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