अयोध्या। प्राण प्रतिष्ठा अनुष्ठान के दूसरे दिन रामलला (Ramlala) की चांदी की मूर्ति को राममंदिर परिसर का भ्रमण कराया गया है। पहले रामलला की अचल मूर्ति को जन्मभूमि परिसर में भ्रमण कराने की योजना थी। सुरक्षा कारणों और मूर्ति का वजन अधिक होने की वजह से परिसर भ्रमण की रस्म रामलला की छोटी रजत प्रतिमा को लेकर पूरी कराई गई। इसी के साथ गर्भगृह में श्री रामयंत्र (Shri Ram Yantra) की स्थापना हुई। इस मौके पर मुख्य यचमान अनिल मिश्र मौजूद रहे।
10 किलो वजनी चांदी से बनी रामलला (Ramlala) की प्रतिमा को मुख्य यजमान डॉ़ अनिल मिश्रा ने पालकी पर विराजमान कर मंदिर के अंदर व मंदिर के चारों तरफ भ्रमण कराया। मंदिर परिसर वैदिक मंत्रोंच्चारों से गूंजता रहा। आचार्यों व मंदिर निर्माण में लगे इंजीनियरों व सुरक्षा कर्मियों ने प्रतिमा पर पुष्पवर्षा की। विहिप के संरक्षक मंडल के सदस्य दिनेश चंद्र व मुख्य यजमान डॉ़ अनिल मिश्र ने रामलला की रजत प्रतिमा का पूजन किया। निर्मोही अखाड़ा के महंत दिनेंद्र दास और पुजारी सुनील दास ने गर्भगृह में सिंहासन की पूजा की।
रामलला (Ramlala) की अचल मूर्ति बुधवार की देर शाम विवेक सृष्टि परिसर से भारी सुरक्षा में राम जन्मभूमि परिसर पहुंचाई गई। अचल मूर्ति को बंद ट्रक में विराजमान कर ले जाया गया।
#WATCH | Uttar Pradesh | The truck, carrying Lord Ram’s idol, being brought to Ayodhya Ram Temple premises amid chants of ‘Jai Sri Ram’.
The pranpratishtha ceremony will take place on January 22. pic.twitter.com/Qv623BWEKb
— ANI (@ANI) January 17, 2024
सुरक्षा में पीएसी के दो सौ जवान, एटीएस की टीम और पुलिस अधिकारी शामिल रहे। अचल मूर्ति को सोने के सिंहासन पर बृहस्पतिवार को विराजित किया जाएगा। गर्भगृह में सिंहासन बनकर तैयार है।
रामलला की प्राण प्रतिष्ठा (Ramlala Pran Pratishtha) के अनुष्ठान के दूसरे दिन का शुभारंभ शुभ मुहूर्त में दोपहर 1:20 बजे सरयू तट पर कलश पूजन के साथ हुआ। मुख्य यजमान डॉ़ अनिल मिश्र ने संकल्प लेकर सपत्नीक कलश पूजन किया। इस दौरान कुल दस कलशों का पूजन हुआ। इसके बाद 21 मातृ शक्तियों ने जल कलश यात्रा निकाली। मुख्य कलश को राम जन्मभूमि परिसर में बने यज्ञमंडप में स्थापित किया गया है। उधर, रामलला के नवनिर्मित गर्भगृह में श्रीरामयंत्र (Shri Ram Yantra) की स्थापना के साथ ही प्राण प्रतिष्ठा के कर्मकांड का शुभारंभ कर दिया गया है। करीब 40 मिनट तक काशी के सात आचार्यों ने विधि विधान पूर्वक तीर्थ पूजन, कलश पूजन, वर्धिनी पूजन संपन्न कराया।
प्राण प्रतिष्ठा अनुष्ठान का दूसरा दिन, आज गर्भगृह में पधारेंगे रामलला
जब यह मूर्ति मंदिर कैंपस में लायी गयी उस समय भारी मात्रा में पुलिस दल मौजूद थे। पुलिस के अलावा सुरक्षा में लगी अन्य एजेंसियां के जवान भी आधुनिक हथियारों के साथ मौजूद रहे।
रामलला की अचल मूर्ति बुधवार की देर शाम विवेक सृष्टि परिसर से भारी सुरक्षा में राम जन्मभूमि परिसर पहुंचाई गई। अचल मूर्ति को बंद ट्रक में विराजमान कर ले जाया गया।