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इंद्रप्रस्थ अपोलो अस्पताल में इस दिन से मिलेगी Sputnik V वैक्सीन

Sputnik-V

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दिल्ली के इंद्रप्रस्थ अपोलो अस्पताल में आगामी 15 जून से रूस निर्मित कोरोना वायरस रोधी टीका ‘स्पुतनिक वी’ के मिलने की उम्मीद है। समाचार एजेंसी एएनआई ने अपने सूत्रों के हवाले से रविवार को यह जानकारी दी। भारत में डॉ रेड्डी प्रयोगशाला का रूसी प्रत्यक्ष निवेश कोष के साथ भारत में ‘स्पुतनिक वी’ टीके की 12.5 करोड़ खुराक बेचने को लेकर करार हुआ है।

‘स्पुतनिक वी’ टीके के भंडारण के लिए विशेषज्ञता की आवश्यकता होती है इसे शून्य से 20 डिग्री सेल्सियस कम तापमान पर रखा जाता है। ‘स्पुतनिक वी’ का विकास गामेलेया नेशनल रिसर्च इंस्टीट्यूट ऑफ इपिडेमोलॉजी एंड माइक्रोबायोलॉजी ने किया है और कोरोना वायरस के खिलाफ इसका असर 94.3 प्रतिशत तक है।

गौरतलब है कि बीते चार जून को ही भारत के औषधि महानियंत्रक (डीसीजीआई) ने सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया (एसआईआई) को भारत में निश्चित शर्तों के साथ अध्ययन, परीक्षण तथा विश्लेषण के लिए कोविड-19 रोधी टीके ‘स्पुतनिक वी’ के उत्पादन की मंजूरी दी है. पुणे स्थित कंपनी ने अपने लाइसेंस प्राप्त हडपसर केंद्र में ‘स्पुतनिक वी’ के उत्पादन के लिए रूस के गेमालिया रिसर्च इंस्टीट्यूट ऑफ एपिडेमियोलॉजी एंड माइक्रोबायलॉजी के साथ साझेदारी की है।

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भारत को बीते एक मई को रूस से ‘स्पुतनिक वी’ वैक्सीन की 1.5 लाख खुराक की पहली खेप मिली थी। केंद्रीय अप्रत्यक्ष कर और सीमा शुल्क बोर्ड (सीबीआईसी) ने एक ट्वीट में कहा था कि हैदराबाद सीमा शुल्क ने रूस से आयातित कोविड-19 वैक्सीन की खेप की निकासी की प्रक्रिया तेजी से निपटायी। डॉ रेड्डीज लैबोरेटरीज ने कहा था कि रूसी वैक्सीन की 1.5 लाख खुराक की पहली खेप हैदराबाद पहुंच गई है।

इसके बाद बीते एक जून को कोविड-19 रोधी टीके ‘स्पुतनिक वी’ की 30 लाख खुराक की एक खेप विशेष चार्टर विमान से हैदराबाद के राजीव गांधी अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे पर लाई गई। जीएमआर हैदराबाद एयर कार्गो (जीएचएसी) की ओर से जारी एक प्रेस विज्ञप्ति के मुताबिक, ‘रूस से विशेष चार्टर विमान आरयू-9450 के जरिए मंगलवार (1 जून) को तड़के तीन बजकर 43 मिनट पर ‘स्पुतनिक वी’ टीके की 30 लाख खुराक हैदराबाद पहुंची।’

रूस ने 11 अगस्त 2020 को कोरोना वायरस की वैक्सीन ‘स्पुतनिक वी’ को मंजूरी दी थी। इसके बाद सितंबर में डॉ रेड्डीज लैबोरेटरीज और रूसी प्रत्यक्ष निवेश कोष (आरडीआईएफ) ने ‘स्पुतनिक वी’ के चिकित्सकीय परीक्षण के लिए एक समझौता किया था। डॉ रेड्डीज को रुसी वैक्सीन के नियंत्रित आपातकालिक उपयोग की अनुमति पहले ही मिल चुकी है।

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