पटना: लंबे समय से चल रहे विवादों के बीच गुरुवार को आरजेडी के वरिष्ठ नेता रघुवंश प्रसाद सिंह ने पार्टी से इस्तीफा दे दिया है। दरअसल, रघुवंश प्रसाद सिंह पार्टी में रामा सिंह की एंट्री और तेजस्वी यादव के मनमाने रवैये से काफी समय से नाराज चल रहे थे। काफी दिनों से उनका मन मनौवल भी किया जा रहा था लेकिन आखिरकार उन्होंने पार्टी से इस्तीफा दे दिया। पटना ऐम्स एमने भर्ती रघुवंश प्रसाद ने इस संबंध में खुद अपने हाथों से लालू यादव को पत्र लिखकर सूचित किया है। बता दें कि आरजेडी को अगड़ी जाति में सबसे ज्यादा सपोर्ट राजपूत समाज से है और रघुवंश प्रसाद सिंह बड़े राजपूत नेता हैं।
कोरोना की चपेट में आ चुके आरजेडी नेता रघुवंश प्रसाद सिंह दिल्ली ऐम्स में भर्ती हैं और वहीं से उन्होंने पार्टी सुप्रीमो लालू प्रसाद यादव को हाथ से पत्र लिख कर इस्तीफा की सूचना दी है। रिम्स, रांची के पते पर लिखे पत्र में उन्होंने लिखा है कि जननायक कर्पूरी ठाकुर के निधन के बाद मैं 32 वर्षों तक आपके पीठ पीछे खड़ा रहा। लेकिन अब नहीं। पार्टी नेता, कार्यकर्ता और आमजनों ने काफी स्नेह दिया, मुझे क्षमा करें।
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इधर, रघुवंश प्रसाद सिंह के आरजेडी से इस्तीफा देने पर जेडीयू प्रवक्ता राजीव रंजन ने रिएक्ट करते हुए कहा कि रघुवंश बाबू का इस्तीफा आरजेडी के ताबूत में आखिरी कील है। जिस दमघोंटू वातावरण में वो खुद को असहज महसूस कर रहे थे, उसकी परिणति यही होनी थी। अंततः उन्होंने दलदल से निकलने का फैसला किया और यह निर्णय स्वागत योग्य है।