मेरठ। कोरोना पर नियंत्रण के लिए पहली बार मरीजों के बीच हवन किया गया है। शांतिकुंज की टीम ने आनंद अस्पताल के कोविड वार्ड में सोमवार को पीपीई किट पहनकर हवन किया।
कोरोना नाशक मंत्रों के साथ ही कई प्रकार की औषधीय जड़ी बूटियों का प्रयोग किया गया। हवन में अस्पताल का स्टाफ भी शामिल हुआ। आयुवेर्दाचार्य डा. आलोक शर्मा ने बताया कि हवन से वायुमंडल के हानिकारक वायरस और बैक्टीरिया नष्ट होते हैं।
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हरिद्वार के शांतिकुंज से मेरठ पहुंची टीम ने सुबह सात बजे हवन आरंभ किया, जो करीब डेढ़ घंटे तक चला। इस दौरान सौ प्रकार की जड़ी बूटियों का समिधा के रूप में प्रयोग किया गया।
शांतिकुंज से आए शरद शर्मा ने बताया कि हवन पूरी तरह वैज्ञानिक विधा है, जिससे न सिर्फ वातावरण सेहतमंद होता है, बल्कि सांस की नलियां भी साफ होती हैं। यह कफ और पित्तनाशक होता है। कोरोना के मरीजों के इलाज के लिए खास प्रकार के मंत्रों का उच्चारण किया गया।
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अस्पताल के प्रबंधक मुनेश पंडित ने बताया कि कोरोना वार्ड के अंदर हवन का देशभर में यह अनोखा प्रयास है। सभी यजमान पीपीई किट में शामिल हुए और कमरे का वेंटीलेशन भी ठीक रखा गया। मरीजों पर इस हवन के पड़ने वालों प्रभावों का अध्ययन किया जाएगा। साथ ही मरीजों को नई आयुर्वेदिक दवाएं भी दी जा रही हैं।