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मौनी अमावस्या पर बन रहा गुरुवार और गजकेसरी योग, ऐसे करें पूजा पूरी होंगी मनोकामनाएं

Writer D by Writer D
11/02/2021
in Main Slider, ख़ास खबर, धर्म, फैशन/शैली
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माघ महीने की मौनी अमावस्या को धर्म-कर्म के लिए खास माना गया है। इस बार मौनी अमावस्या 11 फरवरी, गुरुवार को है। इस बार मौनी अमावस्या पर सालों बाद एक खास संयोग बन रहा है। इससे पहले साल 2014 में यह संयोग बना था। वहीं गजकेसरी योग भी माघ मौनी अमावस्या के महत्व को और भी बढ़ा रह है।

ये है शुभ संयोग

बता दें गजकेसरी योग का अर्थ है गज यानी हाथी और केसरी यानी सोना अर्थात अत्याधिक मात्रा में धन-दौलत देने वाला योग। इस प्रकार शुभ दिन और अच्छे योग में होने के कारण यह अमावस्या बहुत ही शुभ फल देने वाली है। इस अमावस्या पर मौन व्रत भी रखा जाता है। वहीं गुरुवार को माघ महीने की अमावस्या का संयोग 7 साल बाद बन रहा है। इससे पहले 30 जनवरी 2014 को गुरुवार को मौनी अमावस्या का योग बन रहा था। अब ऐसा शुभ संयोग अगले 10 साल बाद यानी 23 जनवरी 2031 को बनेगा। जब गुरुवार को मौनी अमावस्या पर्व रहेगा।

माघ अमावस्या पर स्नान, दान और व्रत

इस दिन सुबह जल्दी उठकर तीर्थ या पवित्र नदी में नहाने की परंपरा है।

ऐसा न हो सके तो पानी में गंगाजल मिलाकर नहाना चाहिए।

माघ महीने की अमावस्या पर पितरों के लिए तर्पण करने का खास महत्व है। इसलिए पवित्र नदी या कुंड में स्नान कर के सूर्य देव को अर्घ्य दिया जाता है और उसके बाद पितरों का तर्पण होता है।

मौनी अमावस्या पर सुबह जल्दी तांबे के बर्तन में पानी, लाल चंदन और लाल रंग के फूल डालकर सूर्य देव को अर्घ्य देना चाहिए।

इसके बाद पीपल के पेड़ और तुलसी की पूजा करने के बाद परिक्रमा करनी चाहिए।

इस दिन पितरों की शांति के लिए उपवास रखें और जरूरमंद लोगों को तिल, ऊनी कपड़े और जूते-चप्पल का दान करना चाहिए।

Tags: gajkesari yogmauni amavasya 2021mauni amavasya daanmauni amavasya kab haimauni amavasya pujamauni amavasya shubh yog
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