उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने बरेली में बिल्डिंग गिरने की दुर्घटना में लोगों की मौत पर गहरा दुख जताया है। उन्होंने मृतकों के शोक संतप्त परिजनों के प्रति संवेदना व्यक्त की है। मुख्यमंत्री ने इस हादसे में घायल लोगों का समुचित उपचार कराने तथा प्रभावित लोगों को हर संभव मदद और राहत प्रदान करने के निर्देश दिए हैं।
बरेली के फतेहगंज पश्चिमी में उस वक्त हड़कंप मच गया, जब बेसमेंट की खुदाई के दौरान पड़ोस की दो मंजिला इमारत भरभरा कर गिर गई। जिसके मलबे में तीन मजदूर दब गए। करीब 7 घंटे तक चले रेस्क्यू के बाद तीनों को कड़ी मशक्कत के बाद निकाला जा सका। जिसमें दो लोगों की मौत हो गई, जबकि एक का जिला अस्पताल में इलाज चल रहा है।
दरअसल, फतेहगंज पश्चिमी कस्बे में बेसमेंट की खुदाई चल रही थी, जिसके बराबर में बनी दो मंजिला ईमारत गिर गई। इमारत गिरने से उसके मलबे के नीचे तीन मजदूर दब गए। जिसके बाद मौके पर हड़कंप मच गया। शुरुआत दौर में जानकारी मिली की 6-7 लोग मलबे के नीचे दबे हैं। लेकिन जैसे-जैसे रेस्क्यू चलता गया स्थिति साफ होती गई। इमारत गिरने की खबर आग की तरह पूरे कस्बे में फैल गई, जिसके बाद आस पड़ोस के सैकड़ों लोगों की भीड़ मौके पर इकट्ठी हो गई।
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हादसे की खबर लगते ही मौके पर कई थानों की पुलिस, पीएसी, एसएसपी रोहित सिंह सजवाण, एडीजी अविनाश चन्द्र, एसपी ग्रामीण राजकुमार अग्रवाल, नगर पंचायत के अधिकारी और कर्मचारी की टीम मौके पर पहुंच गई। जिसके बाद जेसीबी की मदद से मलबे को हटाने का काम शुरू किया गया।
करीब 7 घण्टे तक चले रेस्क्यू के बाद मलबे में दबे तीनों मजदूरों को वहां से निकाला जा सका। 108 एम्बुलेंस की मदद से तीनों मजदूरों को जिला अस्पताल भिजवाया गया, जहां दो मजदूरों की मौत हो गई जबकि एक मजदूर का इलाज चल रहा है और उसकी हालत खतरे से बाहर बताई जा रही है।
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एसपी ग्रामीण राजकुमार अग्रवाल ने बताया कि करीब 3 बजे पुलिस को सूचना मिली कि फतेहगंज पश्चिमी में एक दो मंजिला इमारत गिर गई है, जिसमें कई मजदूर दबने की आशंका है। जिसके बाद पुलिस, पीएसी, नगर पंचायत के कर्मचारियों की कड़ी मशक्कत के बाद करीब 7 घण्टे तक चले रेस्क्यू के बाद तीन मजदूर मलबे से बाहर निकाले गए, जिनमें से इलाज के दौरान 35 साल के जाहिद और 27 साल के धर्मेंद्र की मौत हो गई, जबकि शकील का इलाज चल रहा है।
वहीं बिल्डिंग गिरने के बाद अब उसके पड़ोस के मकानों में रहने वाले लोगों को एहतियात बरतने के लिए कहा गया है। क्योंकि बेसमेंट की खुदाई से उसके आस पड़ोस की दूसरी इमारतों पर भी खतरा मंडराने लगा है।