• About us
  • Privacy Policy
  • Disclaimer
  • Terms & Conditions
  • Contact
24 Ghante Latest Hindi News
  • होम
  • राष्ट्रीय
    • उत्तराखंड
    • उत्तर प्रदेश
    • छत्तीसगढ़
    • हरियाणा
    • राजस्थान
  • राजनीति
  • अंतर्राष्ट्रीय
  • क्राइम
  • मनोरंजन
  • शिक्षा
  • स्वास्थ्य
  • धर्म
  • होम
  • राष्ट्रीय
    • उत्तराखंड
    • उत्तर प्रदेश
    • छत्तीसगढ़
    • हरियाणा
    • राजस्थान
  • राजनीति
  • अंतर्राष्ट्रीय
  • क्राइम
  • मनोरंजन
  • शिक्षा
  • स्वास्थ्य
  • धर्म
No Result
View All Result

भगवान राम के नाम पर क्यों पड़ इसका नाम पुरुषोत्तम मास

Desk by Desk
19/09/2020
in Main Slider, ख़ास खबर, फैशन/शैली
0
Purushottam Maas

पुरुषोत्तम मास

14
SHARES
176
VIEWS
Share on FacebookShare on TwitterShare on Whatsapp

धर्म डेस्क। सूर्य वर्ष 365 दिन और करीब 6 घंटे का होता है, जबकि चंद्र वर्ष 354 दिनों का होता है। दोनों सालों के बीच करीब 11 दिनों का अंतर होता है। ये अंतर हर तीन साल में करीब एक माह के बराबर हो जाता है। इसी अंतर को दूर करने के लिए तीन साल में एक चंद्र मास अतिरिक्त आता है। इसके अतिरिक्त होने की वजह से मलमास या अधिकमास का नाम दिया गया है। मलमास को कुछ जगह पुरुषोत्तम मास के नाम से भी पुकारा जाता है।

भगवान राम के नाम पर पड़ा पुरुषोत्तम मास

धार्मिक मान्यता है कि अधिकमास के अधिपति स्वामी भगवान विष्णु हैं और पुरुषोत्तम भगवान विष्णु का ही एक नाम है, इसलिए अधिकमास को पुरुषोत्तम मास भी कहा जाता है। पुराणों में इस मास को लेकर कई धार्मिक रोचक कथाएं भी दी गई हैं।

दिखाई देगा कोरोना का असर

ज्योतिषाचार्य अनीष व्यास ने बताया कि दान, पुण्य, पूजा-पाठ व श्रीमद्भागवत कथा के लिए मास पुरुषोत्तम पवित्र महीना माना जाता है। इस महीने में भक्ति की गंगा बहती है। देशभर में श्रीमद्भागवत कथा प्रसंगों की गूंज सुनाई देती है, लेकिन इस बार कोरोना संक्रमण के कारण कथा प्रसंगों की गूंज सुनाई देगी, ऐसी संभावना कम ही लग रही है। वहीं कुछ लोग तीर्थ यात्रा भी करते हैं, उनकी यात्रा में कोरोना संक्रमण बाधा बन सकता है। यह महीना भगवान विष्णु जी की भक्ति, आराधना के लिए जाना जाता है। भगवान विष्णु जी की भक्ति, उपासना और श्रीमद्भभागवत कथा सुनने से कई गुना फल की प्राप्ति होती है।

पौराणिक कथा

पौराणिक कथाओं के अनुसार, मलमास होने के कारण कोई इस मास का स्वामी होना नहीं चाहता था, तब इस मास ने भगवान विष्णु से अपने उद्धार के लिए प्रार्थना की। प्रार्थना से प्रसन्न होकर भगवान विष्णु जी ने उन्हें अपना श्रेष्ठ नाम पुरुषोत्तम प्रदान किया। साथ ही यह आशीर्वाद दिया कि जो इस माह में भागवत कथा श्रवण, मनन, भगवान शंकर का पूजन, धार्मिक अनुष्ठान, दान आदि करेगा, वह अक्षय फल प्रदान करने वाला होगा। इसलिए यह माह दान-पुण्य अक्षय फल देने वाला माना जाएगा।

अधिकमास में ये संस्कार किए जा सकते हैं

यूं तो अधिकमास में कई संस्कार का आयोजन वर्जित होता है, लेकिन कुछ ऐसे संस्कार है जिनको मलमास के दौरान भी संपन्न कराया जा सकता है। कुण्डली विश्ल़ेषक अनीष व्यास ने बताया कि संतान जन्म के कृत्य जैसे गर्भाधान, पुंसवन, सीमंत आदि संस्कार किए जा सकते हैं। इसके अलावा यदि किसी मांगलिक कार्य की शुरुआत की जा चुकी है और मलमास आ जाता है तो भी उस मांगलिक कार्य को पूरा किया जा सकता है। इस दौरान विवाह नहीं हो सकता है लेकिन युवक-युवतियों के रिश्ते देखे जा सकते हैं।

Tags: Lifestyle and Relationshipmalmas 2020Purushottam MaasPurushottam Maas KathaWhat Is MalmasWhat To Do In Malmasपुरुषोत्तम मास
Previous Post

पवित्र धाम मथुरा को स्मार्ट सिटी के रूप में विकसित किया जायेगा : श्रीकान्त शर्मा

Next Post

जब माफिया खत्म समाप्त होता है तो जनता में विश्वास बढ़ता है : गहलोत

Desk

Desk

Related Posts

Brinjal
Main Slider

अरे! बैंगन में कीड़े हैं… खरीदते समय इन बातों का रखें ध्यान

30/07/2025
Balushahi
खाना-खजाना

रक्षाबंधन पर बनाएं हलवाई जैसी बालूशाही, फॉलो करें ये टेस्टी रेसिपी

30/07/2025
Fridge
Main Slider

फ्रिज में जम गई है गन्दगी, इन हैक्स से मिनटों में चमक जाएगा आपका रेफ्रीजिरेटर

30/07/2025
Cracked Heels
Main Slider

फटी एड़ियों पर आजमाएं ये ब्यूटी हैक्स, कोमल और सुंदर हो जाएंगे पैर

30/07/2025
Sawan
धर्म

सावन के तीसरे सोमवार पर बरसेगा महादेव का आशीर्वाद, इन शुभ योग में करें पूजा

30/07/2025
Next Post

जब माफिया खत्म समाप्त होता है तो जनता में विश्वास बढ़ता है : गहलोत

यह भी पढ़ें

Bus fell into Alaknanda river

अलकनंदा नदी में गिरी यात्री बस, तीन की मौत; रेस्क्यू जारी

26/06/2025

भाजपा नेता के 11 साल के बेटे की गोली मारकर हत्या, गांव में पुलिस बल तैनात

01/04/2023
Teacher's torture

होमवर्क नहीं करने पर टीचर का टॉर्चर, जलाए चार वर्षीय मासूम के होंठ

23/11/2020
Facebook Twitter Youtube

© 2022 24घंटेऑनलाइन

  • होम
  • राष्ट्रीय
    • उत्तराखंड
    • उत्तर प्रदेश
    • छत्तीसगढ़
    • हरियाणा
    • राजस्थान
  • राजनीति
  • अंतर्राष्ट्रीय
  • क्राइम
  • मनोरंजन
  • शिक्षा
  • स्वास्थ्य
  • धर्म

© 2022 24घंटेऑनलाइन

Go to mobile version