• About us
  • Privacy Policy
  • Disclaimer
  • Terms & Conditions
  • Contact
24 Ghante Latest Hindi News
  • होम
  • राष्ट्रीय
    • उत्तराखंड
    • उत्तर प्रदेश
    • छत्तीसगढ़
    • हरियाणा
    • राजस्थान
  • राजनीति
  • अंतर्राष्ट्रीय
  • क्राइम
  • मनोरंजन
  • शिक्षा
  • स्वास्थ्य
  • धर्म
  • होम
  • राष्ट्रीय
    • उत्तराखंड
    • उत्तर प्रदेश
    • छत्तीसगढ़
    • हरियाणा
    • राजस्थान
  • राजनीति
  • अंतर्राष्ट्रीय
  • क्राइम
  • मनोरंजन
  • शिक्षा
  • स्वास्थ्य
  • धर्म
No Result
View All Result

उप्र में गुरुवार से शुरू होगी राज्य पक्षी सारस की गणना

Writer D by Writer D
19/06/2024
in उत्तर प्रदेश, राजनीति, लखनऊ
0
Sarus

Sarus

14
SHARES
176
VIEWS
Share on FacebookShare on TwitterShare on Whatsapp

लखनऊ। योगी सरकार (Yogi Government) ने सारस (Sarus) के संरक्षण के लिए पहल की, जिसके सुखद परिणाम मिलने लगे। इसी क्रम में उत्तर प्रदेश में गुरुवार से राज्य पक्षी सारस की गणना होगी। वर्ष में दो बार (ग्रीष्मकालीन-शीतकालीन) गणना होती है। वर्ष 2024 के लिए गुरुवार से दो दिन तक सारस (Sarus) गणना होगी। यह गणना सुबह-शाम दो बार की जाएगी। इसमें वन विभाग के अधिकारियों-कर्मचारियों के साथ ही विद्यार्थियों व प्रकृति प्रेमियों का भी सहयोग लिया जाएगा।

2023 में हुई गणना में उत्तर प्रदेश में 19522 सारस (Sarus) पाए गए थे। प्रभागीय वनाधिकारी अपने प्रभाग में पाए गए सारस की संख्या व फोटो पहली जुलाई तक मुख्य वन संरक्षक, ईको विकास, लखनऊ को उपलब्ध कराएंगे।

प्रभागीय वनाधिकारी होंगे को-ऑर्डिनेटर

सारस (Sarus) की गणना वर्ष में दो बार (ग्रीष्मकालीन व शीतकालीन) होती है। 20 व 21 जून-2024 को ग्रीष्मकालीन सारस (Sarus)  गणना की जाएगी। इसके लिए प्रत्येक प्रभाग के प्रभागीय वनाधिकारी अपने-अपने क्षेत्रों के को-ऑर्डिनेटर होंगे। वन रक्षक गणना टीम का लीडर होगा। इनके कार्य क्षेत्र में कई वेटलैंड होने पर एक से अधिक टीम गठित की जाए। इसके लिए जनसामान्य को भी जागरूक किया जाएगा। गणना में स्कूल, कॉलेज के बच्चों, प्रकृति प्रेमियों व एनजीओ भी सारस गणना में प्रतिभाग कर सकते हैं। इन्हें प्रमाण पत्र भी दिया जाएगा।

साल दर साल बढ़ती गई सारस (Sarus) की संख्या

वर्ष 2024 में प्रत्येक गणना स्थल पर सुबह छह से आठ और शाम चार से छह बजे तक गणना होगी। दोनों में जो भी संख्या अधिकतम होगी, उसे ही वास्तविक माना जाएगा। प्रत्येक गणना स्थल की जीपीएस रीडिंग भी होगी। वहीं साल दर साल सारस की संख्या में भी काफी बढ़ोतरी हुई।

शिक्षा जगत में भारत के पुरातन गौरव को पुनः स्थापित करेगा नालंदा विवि.का आधुनिक स्वरूप: योगी

कोरोना के बाद प्रदेश में 2021 में 17329 सारस (Sarus) पाए गए। 2022 में यह बढ़कर 19188 हो गए। 2023 में यह संख्या बढ़कर 19522 हो गई। वहीं 2024 में गुरुवार से होने वाली गणना के उपरांत सारस के कुनबे के और बढ़ने की संभावना है।

Tags: Lucknow Newsstate bird sarusup newsYogi GovernmentYogi News
Previous Post

शिक्षा जगत में भारत के पुरातन गौरव को पुनः स्थापित करेगा नालंदा विवि.का आधुनिक स्वरूप: योगी

Next Post

चस्का फास्ट फूड एंड रेस्टोरेंट का बीडीओ ने फीता काट कर किया उद्घाटन

Writer D

Writer D

Related Posts

Bihar's Deputy Chief Minister interacted with farmers in Ayodhya
लखनऊ

बिहार के उप मुख्यमंत्री ने अयोध्या में किसानों से किया संवाद

10/06/2025
CM Yogi
उत्तर प्रदेश

दलित उत्थान के लिए शिक्षा, सम्मान और सशक्तीकरण की नई राह पर योगी सरकार

10/06/2025
CM Yogi
उत्तर प्रदेश

ग्रेटर नोएडा, वाराणसी में नए ईएसआई मेडिकल कॉलेज की स्थापना करेगी योगी सरकार

10/06/2025
CM Bhajanlal Sharma
Main Slider

आतंकवाद के प्रति जीरो टॉलरेंस की नीति है मोदी सरकार की: भजनलाल

10/06/2025
CM Nayab Singh Saini
राजनीति

पंचकुला में बनेगा एकीकृत कमांड एवं नियंत्रण केंद्र, मुख्यमंत्री ने दी मंजूरी

10/06/2025
Next Post

चस्का फास्ट फूड एंड रेस्टोरेंट का बीडीओ ने फीता काट कर किया उद्घाटन

यह भी पढ़ें

CM Dhami

भ्रष्टाचार के मामलों में छोटी मछलियों के साथ ही भ्रष्टाचारी मगरमच्छो को भी पकड़ा जा रहा- मुख्यमंत्री

08/06/2025
auto component industry

निजी क्षेत्र में 75% नौकरियों में आरक्षण देने के फैसले पर पुनर्विचार का आग्रह

10/11/2020
मुख्तार अंसारी

बाहुबली मुख्तार अंसारी के दोनों सालो को बड़ी राहत, हाईकोर्ट ने लगाई गिरफ्तारी पर रोक

05/11/2020
Facebook Twitter Youtube

© 2022 24घंटेऑनलाइन

  • होम
  • राष्ट्रीय
    • उत्तराखंड
    • उत्तर प्रदेश
    • छत्तीसगढ़
    • हरियाणा
    • राजस्थान
  • राजनीति
  • अंतर्राष्ट्रीय
  • क्राइम
  • मनोरंजन
  • शिक्षा
  • स्वास्थ्य
  • धर्म

© 2022 24घंटेऑनलाइन

Go to mobile version