कोलकाता। इस साल विधानसभा चुनाव होने हैं और राज्य में सियासत तेज हो चुकी है। सत्ताधारी पार्टी तृणमूल कांग्रेस अपने नेताओं को एकजुट रखने में असफल हो रही है। एक-एक करके कई नेता ममता बनर्जी की पार्टी से इस्तीफा दे रहे हैं। ताजा मामले में बंगाल के मंत्री, पूर्व क्रिकेटर और पार्टी नेता लक्ष्मी रतन शुक्ला ने मंत्री पद से इस्तीफा दे दिया है।
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उन्होंने हावड़ा में तृणमूल कांग्रेस के जिला अध्यक्ष पद से भी इस्तीफा दे दिया है। पश्चिम बंगाल सरकार में लक्ष्मी रतन शुक्ला खेल मंत्री थे। हालांकि शुक्ला ने टीएमसी के विधायक पद से इस्तीफा नहीं दिया है। सूत्रों ने कहा है कि लक्ष्मी रतन शुक्ला ने राजनीति छोड़ने की इच्छा व्यक्त की है। ममता बनर्जी ने कहा है कि उनके इस्तीफे को नकारात्मक तरीके से नहीं लिया जाना चाहिए।
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मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने इस पर कहा है कि लक्ष्मी रतन शुक्ला के इस्तीफे को नकारात्मक तरीके से नहीं लिया जाना चाहिए। उन्होंने कहा, ‘कोई भी इस्तीफा दे सकता है। उन्होंने अपने त्यागपत्र में लिखा है कि वह खेल को अधिक समय देना चाहते हैं और विधायक बने रहेंगे। इसे नकारात्मक तरीके से न लें।’
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विधानसभा चुनाव से पहले ममता बनर्जी की टीएमसी को कई झटके लग चुके हैं। सुवेंदु अधिकारी सहित कई नेता टीएमसी का साथ छोड़कर भाजपा में शामिल हो गए हैं। पार्टी छोड़ने वाले नेताओं का आरोप है कि जब से पार्टी में अभिषेक बनर्जी और प्रशांत किशोर का दबदबा बढ़ा है, सही से काम नहीं हो रहा है। वहीं कुछ दिन पहले ममता ने भाजपा पर हमला बोलते हुए कहा था कि कुछ लोगों को ले जाने से उनकी पार्टी पर कोई असर नहीं पड़ेगा। बंगाल में एक बार फिर टीएमसी की ही सरकार बनेगी।