सनातन धर्म में चैत्र पूर्णिमा (Chaitra Purnima) का बहुत महत्व है। इस दिन भगवान विष्णु की पूजा विधि-विधान से की जाती है। ऐसा माना जाता है कि इस शुभ दिन पर भगवान विष्णु और माता लक्ष्मी की पूजा सच्चे मन से की जाए, तो सुख-समृद्धि का आशीर्वाद प्राप्त होता है। इसे चैती पूनम के नाम से भी जाना जाता है। इस वर्ष चैत्र पूर्णिमा (Chaitra Purnima) 23 अप्रैल 2024, मंगलवार को मनाई जाएगी। इस दिन को लेकर ज्योतिष शास्त्र में कई उपाय बताए गए हैं। इन्हें करने से कई तरह के लाभ प्राप्त होते हैं।
पीपल के पेड़ की पूजा
चैत्र पूर्णिमा (Chaitra Purnima) के दिन पीपल के पेड़ की पूजा करना शुभ माना जाता है। ज्योतिष शास्त्र के अनुसार, इस दिन शाम के समय पीपल के पेड़ की विधि-विधान से पूजा करनी चाहिए। पेड़ के सामने घी का दीपक भी जलाना चाहिए। इसे 21 बार पेड़ की परिक्रमा करनी चाहिए। इस प्रकार ग्रह दोषों से मुक्ति मिलती है। साथ ही अक्षय फल की प्राप्ति होती है।
श्रीयंत्र की करें पूजा
चैत्र पूर्णिमा (Chaitra Purnima) पर श्री यंत्र की पूजा का भी विशेष महत्व होता है। श्रीयंत्र को देवी लक्ष्मी का प्रतीक माना जाता है। ऐसे में इस दिन धन की देवी के साथ श्रीयंत्र की भी पूजा करना चाहिए। इससे घर की आर्थिक तंगी दूर हो जाती है। साथ ही कार्य क्षेत्र में किसी भी प्रकार की बाधा नहीं आती है। कभी भी पैसों की कमी नहीं आती है।
इन मंत्रों के जाप से होगा लाभ
चैत्र पूर्णिमा (Chaitra Purnima) पर स्नान, ध्यान और वैदिक मंत्रों का जाप जरूर करना चाहिए। इस उपाय को करने से मानसिक शांति प्राप्त होती है। साथ ही आर्थिक परेशानियां भी खत्म हो जाती हैं। ज्योतिष शास्त्र में बताया गया है कि चैत्र पूर्णिमा के दिन ‘ॐ स्रां स्रीं स्रौं स: चन्द्रमसे नम:’ या ‘ॐ ऐं क्लीं सोमाय नम:’ मंत्र का जाप करना शुभ होता है।