एटा। 50 लाख रुपये की फिरौती न मिलने पर अपहरणकर्ताओं ने युवक की हत्या (Murder) कर दी थी। पुलिस पर लापरवाही का आरोप लगाते हुए शनिवार को परिवार और अन्य लोगों ने शव को रखकर थाने का घेराव किया। इस दौरान पुलिस मुर्दाबाद के नारे लगाए। अपर पुलिस अधीक्षक धनंजय सिंह के समझाने के बाद लोग शांत हुए।
कस्बा जलेसर के मोहल्ला पोस्ती खाना निवासी मुकेश वर्मा का 22 वर्षीय पुत्र गोपाल अखबार बांटने का काम करता था। परिजनों ने बताया कि गोपाल 31 अगस्त को गणेश महोत्सव में शामिल होने के लिए मोटरसाइकिल से गया और लापता हो गया था। काफी खोजबीन के बाद उसका पता नहीं चलने पर परिवार ने 01 सितम्बर को पुत्र की गुमशुदगी जलेसर कोतवाली में दर्ज कराई थी।
परिजन थाने पर ही मौजूद थे तभी एक अज्ञात फोन से गोपाल के भाई मनू के मोबाइल फोन पर कॉल आई और उसने बेटे की सलामती के लिए फिरौती बतौर 50 लाख रुपए की मांगे। थाने में तैनात प्रभारी निरीक्षक (अतिरिक्त प्रभारी निरीक्षक अपराध) ने अनजान व्यक्ति बनकर बात की। बदमाशों के बताए गए जगह पर पुलिस योजनाबद्ध तरीके से पहुंची, लेकिन अपहरणकर्ताओं को इसकी भनक लग गई और वो बैग लेने नहीं आये।
इधर फोन नम्बर को संर्विलांस पर लगाकर एसटीएफ अपहरणकर्ताओं की तलाश में थी। एसटीएफ ने एक व्यक्ति को गिरफ्तार कर पूछताछ की। उसकी निशानदेही पर पुलिस ने समसपुर-कलवारी रोड से ग्राम नगला बबूल को जाने वाले रास्ते के पास बाजरा खेत से गोपाल का सड़ा-गला शव बरामद लिया। गोपाल की बाइक और मोबाइल भी बरामद कर लिया। पिता मुकेश वर्मा ने शव की शिनाख्त गोपाल के रुप में की।
पिता ने आरोप लगाया कि अगर समय रहते पुलिस ने कानूनी कार्रवाई की होती तो शायद आज उनका बेटा गोपाल जिंदा होता। परिवार ने सर्राफा व्यवसाइयों अन्य लोगों के साथ मिलकर थाने का घेराव किया। पुलिस मुर्दाबाद के नारे लगाएं। अपर पुलिस अधीक्षक धनंजय सिंह ने आक्रोशितों समझा-बुझाकर शांत कराया। उन्होंने परिवार को आश्वासन दिया है कि गोपाल के हत्यारों को पुलिस जल्द ही गिरफ्तार कर लेगी।