उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने रविवार को कहा कि कृषि प्रधान देश होने के नाते किसान देश की रीढ़ है और उनकी तरक्की में ही राष्ट्र की तरक्की है।
सरदार वल्लभ भाई पटेल कृषि एवं प्रौद्योगिक विश्वविद्यालय के केन्द्रीय पुस्तकालय भवन का लोकार्पण करने के साथ श्री योगी ने यहां किसानों के हित से जुड़ी 325 करोड़ रुपए की विकास परियोजनाओं का लोकार्पण एवं शिलान्यास किया। इस अवसर पर आयोजित कार्यक्रम को सम्बोधित करते हुए उन्होने कहा कि केन्द्र और प्रदेश सरकार किसानों की आय वर्ष 2022 तक दोगुनी करने के लिए अनेक कदम उठा रही है। यहां का किसान मेहनत भी करता है, साथ ही एकता और अखण्डता के लिए जब भी आह्वान होता है, तो समर्पित भाव से आगे आकर योगदान देता है। खेती-किसानी के बाद जो समय बचता है, वह समय यहां का किसान अपनी आस्था को व्यक्त करने में व्यतीत करता है।
उन्होने कहा कि आजादी के बाद पश्चिमी उत्तर प्रदेश के किसानों ने अपने परिश्रम और पुरुषार्थ से खाद्यान्न आपूर्ति को सुनिश्चित करते हुए भारत को खाद्यान्न के क्षेत्र में आत्मनिर्भर बनाने में अपनी महत्वपूर्ण भूमिका का निर्वहन किया है। प्रदेश को आगे बढ़ाने में पश्चिमी उत्तर प्रदेश के किसानों का अभिनन्दनीय योगदान है।
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श्री योगी ने कहा कि राज्य सरकार ने यहां की गंग नहर के किनारे कांवड़ की एक अतिरिक्त लेन बनाने का निर्णय लिया है। इसके लिए 600 करोड़ रुपए से अधिक की सहमति दी है। इसे महान किसान नेता और भूतपूर्व प्रधानमंत्री चौधरी चरण सिंह को समर्पित किया गया है। यह सड़क कांवड़ यात्रियों को समर्पित है, ताकि खेती-किसानी के बाद जो समय मिलता है, उससे आस्था को मजबूती प्रदान करने का अवसर मिल सके। उन सभी चीजों को ध्यान में रखकर कार्य किया जा रहा है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि 32 हजार करोड़ रुपए की लागत से और केन्द्र सरकार के सहयोग से मेरठ को मेट्रो का विकल्प देने जा रहे हैं। यह मेरठ को दिल्ली के साथ जोड़ेगा। साथ ही, यह देश का पहला कार्य होगा, जहां इतनी बड़ी दूरी से जोड़ने की कार्य योजना बन रही है।