उत्तर प्रदेश के अमेठी में बकाया भुगतान के नाम पर सफाईकर्मी से 30 हजार रुपये की घूस लेते पकड़ी गईं डीपीआरओ श्रेया मिश्रा को लेकर विजिलेंस टीम शुक्रवार की दोपहर गोरखपुर के लिए रवाना हो गई। इससे पहले टीम ने जिला अस्पताल में डीपीआरओ का मेडिकल कराया और दोबारा थाने पहुंचकर दर्ज प्राथमिकी कीसत्यापित कॉपी व अन्य जरूरी कागजात लिए। वहीं दूसरी तरफ गिरफ्तार डीपीआरओ श्रेया मिश्रा ने पूरे प्रकरण को अपने खिलाफ बड़ी साजिश करार दिया। उन्होंने कहा कि जिले में तैनाती के चंद महीने बाद से ही कुछ लोग उनके खिलाफ साजिश में जुटे थे। उधर कर्मचारी संगठन भी श्रेया मिश्रा के समर्थन में लामबंद हो गए हैं।
बता दें जिले की डीपीआरओ श्रेया मिश्रा को गुरुवार दोपहर करीब पौने दो बजे लखनऊ से आई विजिलेंस टीम ने बाजार शुकुल के धनेशा राजपूत गांव में तैनात सफाई कर्मचारी सुशील कुमार सिंह से अपने कार्यालय में 30 हजार रुपये की घूस लेते गिरफ्तार किया था। श्रेया मिश्रा की गिरफ्तारी व उनसे लंबी पूछताछ करने के बाद टीम ने देर शाम उनके घर की तलाशी ली, जहां एक आलमारी में इमरजेंसी लिखे पैकेट में रखे 1.70 लाख रुपये बरामद किया। तलाशी पूरी होने के बाद विजिलेंस टीम ने देर रात गौरीगंज थाने में केस दर्ज कराया।
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केस दर्ज कराने के बाद विजिलेंस टीम डीपीआरओ को लेकर महिला थाने गई. सुबह टीम डीपीआरओ को लेकर संयुक्त जिला चिकित्सालय पहुंची। यहां उनका मेडिकल कराने के बाद टीम दोबारा गौरीगंज थाने पहुंची और दर्ज कराए गए केस की सत्यापित कॉपी व अन्य जरूरी कागजात लिए। सभी औपचारिकताएं पूरी करने के बाद टीम शुक्रवार को दोपहर बाद उन्हें कोर्ट में पेश करने के लिए टाटा सूमो गाड़ी से गोरखपुर रवाना हो गई।
विजिलेंस टीम द्वारा ट्रैप हुईं डीपीआरओ श्रेया मिश्रा ने पूरे प्रकरण को अपने खिलाफ बड़ी साजिश करार दिया। उन्होंने कहा कि जिले में तैनाती के चंद महीने बाद से ही कुछ लोग उनके खिलाफ साजिश में जुटे थे। इस साजिश में नकारा सफाई कर्मियों के साथ उनके कार्यालय के कुछ ऐसे भ्रष्ट कर्मचारी भी शामिल थे, जिनकी मनमानी नहीं चल पा रही थी। गुरुवार को भी जब एक कर्मचारी ने उनसे बताया कि सुशील उनसे मिलना चाहता है तो उन्होंने मना कर दिया था। बाद में अचानक सुशील उनके कमरे में घुस आता है। कार्यालय में घुसते ही सुशील मुठ्ठी में लिए कुछ नोट जबरन उनके हाथ पर रखने के बाद उनका पैर पकड़कर बैठ गया। इसी दौरान पहुंची विजिलेंस टीम ने उन्हें गिरफ्तार कर लिया।
डीपीआरओ के पक्ष में उतरे विभागीय कर्मचारी
वहीं डीपीआरओ की गिरफ्तारी के बाद ग्राम पंचायत अधिकारी व ग्राम विकास अधिकारी संघ उनके पक्ष में उतर आया है। दोनों संघ ने जिला प्रशासन के माध्यम से मुख्यमंत्री को ज्ञापन भेजकर डीपीआरओ को साजिश के तहत फंसाने के मामले की निष्पक्ष जांच करते हुए साजिशकर्ताओं के खिलाफ कार्रवाई की मांग की है। ग्राम पंचायत अधिकारी संघ व ग्राम विकास अधिकारी संघ के अलावा राज्य कर्मचारी संयुक्त परिषद कार्रवाई के विरोध में उतर आई। ग्राम पंचायत अधिकारी संघ के जिलाध्यक्ष रजनीश भाष्कर व ग्राम विकास अधिकारी संघ के प्रांतीय अध्यक्ष के अलावा राज्य कर्मचारी संयुक्त परिषद के जिलाध्यक्ष सुभाष पांडेय के नेतृत्व में बड़ी संख्या में कर्मचारी डीएम कैंप कार्यालय पहुंच गए। कर्मचारी नेताओं ने डीपीआरओ को ईमानदार बताते हुए सफाईकर्मी पर साजिश कर डीपीआरओ को फंसाने व बदनाम करने का आरोप लगाया है।
समिति पदाधिकारियों ने मुख्यमंत्री को संबोधित ज्ञापन एसडीएम गौरीगंज संजीव कुमार मौर्य को देकर सफाई कर्मी पर पूर्व में कई बार धोखाखड़ी करने व चोरी करने के आरोप में विभागीय कार्रवाई होने की बात कहते हुए वेतन वृद्धि व भुगतान प्राप्तकरने के लिए साजिश के तहत फर्जी कार्रवाई कराने की बात कही है। समिति पदाधिकारियों ने मुख्यमंत्री से पूरे प्रकरण की निष्पक्ष जांच कराते हुए साजिशकर्ता के खिलाफ कार्रवाई और डीपीआरओ को दोषमुक्त करते हुए केस बंद कराने की मांग की है। इस मौके पर विश्व मोहन, राकेश कुमार, प्रिया सिंह, ओम प्रकाश दुबे व रश्मि मिश्र समेत बड़ी संख्या में कर्मचारी मौजूद रहे।